Saturday, January 4, 2020

· 10 हजार रूपये का उद्घोषित ईनामी भूमाफिया क्राईम ब्रांच इंदौर की गिरफ्त में। · आरोपी को छीपाबढ़ जिला हरदा से दबिश देकर किया गिरफ्तार। · किराये से लिये गयेे वाहन को स्वयं की संपत्ति बताते हुये, पंजाब के सरदारों को बेच देता था आरोपी। · इंदौर से थाना राऊ और क्षिप्रा के अलावा टोंकखुर्द जिला देवास के प्रकरणों में फरार चल रहा था आरोपी।



इंदौर - दिनांक 04 जनवरी 2019- इंदौर पुलिस द्वारा जारी अभियान के तहत फरार बदमाशों की धरपकड़ करने हेतु फरार आरोपियों के संबंध में सूचना संकलित करने के उददेशय से ईनाम घोषित किये जाकर, पतारसी बाबत् पुलिस उपमहानिरीक्षक श्रीमती रूचिवर्धन मिश्र इंदौर (शहर) द्वारा जिले के सभी थानों को निर्देशित किया गया था। उक्त निर्देशों के तारतम्य में पुलिस अधीक्षक (मुख्यालय) श्री सूरज कुमार वर्मा के निर्देशन में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (क्राईम ब्रांच) श्री अमरेन्द्र सिंह द्वारा समस्त टीमों को फरार उद्घोषित ईनामी माफियाओं की धरपकड़ करने हेतु समुचित दिशा निर्देश दिये गये थे।

         इसी तारतम्य में क्राईम ब्रांच इंदौर की टीम को सूचना प्राप्त हुई थी कि थाना क्षिप्रा इंदौर के अपराध क्रमांक 218/19 धारा 420, 406 भादवि के प्रकरण में फरार आरोपी सुनील पिता लखनलाल विशनोई उम्र 39 साल निवासी ग्राम सारंगपुर तहसील खिरकिया जिला हरदा पर 10 हजार का ईनाम घोषित किया गया है जोकि छीपावड़, हरदा के आसपास छुपकर फरारी काट रहा है तथा इंदौर पुलिस द्वारा वांछित आरोपी है। सूचना पर अपराध शाखा इंदौर की टीम द्वारा कार्यवाही करते हुए फरार आरोपी की तलाश आरंभ की गई जिसे कड़ी मशक्कत के बाद छीपावड़ जिला  हरदा से घेराबंदी कर पकड़ा गया।

             आरोपी सुनील पिता लखनलाल विशनोई ने पूछताछ में बताया कि वह अपने साथीदारानों के साथ मिलकर इंदौर आता था जोकि इंदौर तथा आसपास के अन्य क्षेत्रों के लोगों से खेती करने हेतु किराये पर ट्रेक्टर मांगता था। मासिक भाड़े पर किराये से ट्रेक्टर लेकर, आरोपी अपने साथियों के साथ हरदा जाता था, हरदा पहुंचने पर आरोपी किराये से ले जाये गये ट्रेक्टरों को स्वयं की संपत्ति बताते हुये, पंजाब के रहने वाले सरदार जोकि हारवेस्टर लेकर कटाई करने हरदा में आते थे, उन्हें सस्ते दामों में बेच देता था। ट्रेक्टर बेचकर आरोपी सुनील अपने साथियों के साथ हिस्सा बांट कर मौज मस्ती में पैसे उड़ा देता था।

             आरोपी जिन लोगों को ट्रेक्टर बेचता था उनसे आधा पैसा ट्रेक्टर बेचते समय लेता था व आधा पैसा एनओसी प्रदाय करते वक्त चुकाये जाने की बात करता था। आरोपी आरंभिक 1-2 माह तक मूल वाहन स्वामी जिससे वह किराये पर लेकर जाता था उन्हें मासिक भाड़ा चुकाता रहता था तोकि भरोसे में ले सके इसके बाद आरोपी रफूचक्कर हो जाता था।

              इस प्रकार सुनील व उसके अन्य साथियों ने कई ट्रेक्टर धोखाधड़ी कर बेच दिये। आरोपी सुनील के विरूद्ध थाना राऊ जिला इंदौर में अपराध क्र 280/19 धारा 420, 406, 294, 506, 34 भादवि एवं थाना टोंकखुर्द जिला देवास में अपराध क्रमांक 229/19 धारा 420, 406 भादवि का अपराध पूर्व से पंजीकृत है जिसमें आरोपी वांछित था।

              आरोपी सुनील के अन्य साथीदारान मनोज वैष्णव व विजय वैष्णव को थाना क्षिप्रा द्वारा पूर्व में पकड़ा गया था किंतु आरोपी सुनील पिता लखनलाल लगतार फरार चल रहा था जिसकी पतारसी हेतु पुलिस अधीक्षक (पश्चिम) द्वारा 10,000 रूपये के नगद ईनाम की उद्घोषणा जारी की गई थी।




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