इन्दौर -दिनांक 23 नवम्बर 2012- पुलिस अधीक्षक मुखयालय डॉ. आशीष ने बताया कि, दिनांक 5 जून 2012 को प्रातः सरवटे बस स्टेण्ड पर मनोज पिता किशनलाल सोनकर (25) निवासी 68 लूनियापुरा इन्दौर को, आरोपी राकेश पिता किशनलाल एवं उसके साथियों द्वारा गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। घटना दिनांक से ही आरोपी राकेश पिता किशनलाल फरार हो गया था। सरवटे बस स्टेण्ड में लगे सी.सी.टी.वी. कैमरों में भी उक्त घटना रिकार्ड हो गई थी जिसमें आरोपी की पहचान गोली मारते हुए की गई थी। आरोपी की गिरफतारी हेतु पुलिस थाना छोटी ग्वालटोली द्वारा महू, देवास, अहमदाबाद, खेडीघाट, औंकारेश्वर एवं अन्य संभावित स्थानों पर दबिश देकर गिरफतारी के प्रयास किये गये किन्तु आरोपी फरार होकर पुलिस से बचता रहा। आरोपी की गिरफ्तारी हेतु तत्कालीन वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक श्री ए.साई. मनोहर द्वारा 10,000 रूपयें के ईनाम की घोषणा की गई थी।
गंभीर अपराधों में फरार मुखय आरोपियों की गिरफतारी हेतु पुलिस अधीक्षक मुखयालय डॉ. आशीष द्वारा अपराधशाखा के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षकद्वय श्री मनोज कुमार राय एवं श्री जितेन्द्र सिंह को निर्देशित किया गया। श्री राय एवं श्री सिंह द्वारा इस बाबत अपराध शाखा की केन्द्रीय तकनीकी टीम को स्वयं के निर्देशन में निगाह रखे जाने हेतु निर्देशित किया गया।
इस बीच टीम को सूचना प्राप्त हुई कि, प्रकरण का मुखय आरोपी राकेश पिता किशनलाल राज्य के बाहर स्थित किसी अन्य प्रांत में फरारी काट रहा है। प्राप्त सूचना के आधार पर निरीक्षक जयंत राठौर की टीम को रवाना किया गया जिनके द्वारा आरोपी राकेश पिता किशनलाल को गुजरात के पोरबन्दर स्थित पंच हटडी क्षेत्र से गिरफतार किया गया। आरोपी की निशादेही से घटना में प्रयुक्त फायर आर्म्स पिस्टल जप्त किया गया है।
पुलिस अधीक्षक मुखयालय डॉ. आशीष एवं अपराध शाखा के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षकद्वय श्री राय एवं श्री सिंह ने बताया कि, आरोपी घटना के बाद से फरार होकर पोरबन्दर में रहने लगा था और अपना नाम बदलकर राजू मद्रासी रख लिया था एवं अपनी पहचान छुपाने के लिए, मद्रासी हुलिया बना लिया था। आरोपी द्वारा एक स्थानीय महिला से मुहबोली बहन का रिश्ता बनाकर उसके माध्यम से समुद्र में मछली पकडने जाने वाली बोट पर मछलीपकडने का काम करने लगा था। कुछ समय पश्चात आरोपी द्वारा इन्दौर से अपनी पत्नि सपना को पोरबन्दर बुला लिया और उसके साथ रहने लगा था। सपना द्वारा उसके शरीर से मछली की दुर्गन्ध आने का कहने पर, उसके द्वारा यह काम छोडकर पुताई का काम करने लगा था। आरोपी के विरूद्व पूर्व में थाना छोटी ग्वालटोली पर 2 आर्म्स एक्ट एवं 1 जुआ एक्ट तथा थाना रावजी बाजार में 1 जुआ एक्ट का प्रकरण पंजीबद्व होकर अपराधिक इतिहास रहा है।
आरोपी की गिरफ्तारी में निरीक्षक जंयत सिंह राठौर, सउनि (अ) अमित दीक्षित, सउनि नाथूराम दुबे, प्र.आर. चन्दरसिंह, प्र.आर. अवधेश अवस्थी, आर. रणबीर सिंह, एवं आर. जितेन्द्र सेन की उल्लेखनीय भूमिका रही है। टीम को पुलिस उपमहानिरीक्षक इन्दौर द्वारा पुरूस्कृत किया जावेगा।
गंभीर अपराधों में फरार मुखय आरोपियों की गिरफतारी हेतु पुलिस अधीक्षक मुखयालय डॉ. आशीष द्वारा अपराधशाखा के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षकद्वय श्री मनोज कुमार राय एवं श्री जितेन्द्र सिंह को निर्देशित किया गया। श्री राय एवं श्री सिंह द्वारा इस बाबत अपराध शाखा की केन्द्रीय तकनीकी टीम को स्वयं के निर्देशन में निगाह रखे जाने हेतु निर्देशित किया गया।
इस बीच टीम को सूचना प्राप्त हुई कि, प्रकरण का मुखय आरोपी राकेश पिता किशनलाल राज्य के बाहर स्थित किसी अन्य प्रांत में फरारी काट रहा है। प्राप्त सूचना के आधार पर निरीक्षक जयंत राठौर की टीम को रवाना किया गया जिनके द्वारा आरोपी राकेश पिता किशनलाल को गुजरात के पोरबन्दर स्थित पंच हटडी क्षेत्र से गिरफतार किया गया। आरोपी की निशादेही से घटना में प्रयुक्त फायर आर्म्स पिस्टल जप्त किया गया है।
पुलिस अधीक्षक मुखयालय डॉ. आशीष एवं अपराध शाखा के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षकद्वय श्री राय एवं श्री सिंह ने बताया कि, आरोपी घटना के बाद से फरार होकर पोरबन्दर में रहने लगा था और अपना नाम बदलकर राजू मद्रासी रख लिया था एवं अपनी पहचान छुपाने के लिए, मद्रासी हुलिया बना लिया था। आरोपी द्वारा एक स्थानीय महिला से मुहबोली बहन का रिश्ता बनाकर उसके माध्यम से समुद्र में मछली पकडने जाने वाली बोट पर मछलीपकडने का काम करने लगा था। कुछ समय पश्चात आरोपी द्वारा इन्दौर से अपनी पत्नि सपना को पोरबन्दर बुला लिया और उसके साथ रहने लगा था। सपना द्वारा उसके शरीर से मछली की दुर्गन्ध आने का कहने पर, उसके द्वारा यह काम छोडकर पुताई का काम करने लगा था। आरोपी के विरूद्व पूर्व में थाना छोटी ग्वालटोली पर 2 आर्म्स एक्ट एवं 1 जुआ एक्ट तथा थाना रावजी बाजार में 1 जुआ एक्ट का प्रकरण पंजीबद्व होकर अपराधिक इतिहास रहा है।
आरोपी की गिरफ्तारी में निरीक्षक जंयत सिंह राठौर, सउनि (अ) अमित दीक्षित, सउनि नाथूराम दुबे, प्र.आर. चन्दरसिंह, प्र.आर. अवधेश अवस्थी, आर. रणबीर सिंह, एवं आर. जितेन्द्र सेन की उल्लेखनीय भूमिका रही है। टीम को पुलिस उपमहानिरीक्षक इन्दौर द्वारा पुरूस्कृत किया जावेगा।
No comments:
Post a Comment