इन्दौर-दिनांक
17 मई 2018-पुलिस
उप महानिरीक्षक इन्दौर (शहर) श्री हरिनारायणाचारी मिश्र द्वारा इन्दौर शहर के
विभिन्न थाना क्षेत्रों में बाहर से आकर रह रहे लोगों को चैक कर, अवैधानिक
तरीके से रहने वाले लागों के विरूद्ध कार्यवाही करने के लिये इंदौर पुलिस को
निर्देशित किया गया है। उक्त निर्देशों के तारतम्य में पुलिस अधीक्षक (मुखयालय), इन्दौर
श्री मो. युसूफ कुरैशी के निर्देशन में अति. पुलिस अधीक्षक क्राईम ब्रांच, इन्दौर
श्री अमरेन्द्र सिंह द्वारा क्राईम ब्रांच की समस्त टीम प्रभारियों को इस दिशा में
प्रभावी कार्यवाही करने हेतु समुचित दिशा निर्देश जारी किये गये थे।
इसी
कड़़ी में क्राईम ब्रांच इंदौर की टीम को सूचना मिली थी कि स्नेहलतागंज इन्दौर से
आमिर अली इब्राहिम भाई खैरानी पिता इब्राहिम जा ेकि मूलतः पता 102
सिल्वर जुबली अपार्टमेंट स्नेहलतागंज इंदौर म.प्र के निवासी है। विदेश में नौकरी
करने के उद्देश्य से सर्वप्रथम 1982 में आरोपी आमिर अली ने भोपाल से अपने
वास्तविक नाम व पता सियागंज इंदौर के पते पर पासपोर्ट बनवाया था एवं 1992
में पासपोर्ट का नवीनीकरण 36/4, स्नेहलतागंज स्थित न्यू सिल्वर जुबली
अपार्टमेन्ट फ्लैट नम्बर 102 के पते पर करवाया था जो वर्ष 2004
में नवीनीकृत पासपोर्ट बनवाया था जोकि वर्ष 2014 तक
वैध रहा।
आरोपी आमिर अली का विवाह 1986
में हैदराबाद से हुआ था, आरोपी के ससुर अकबर अली हैदराबाद में
व्यवसाय करते थे। आरोपी विवाह के लगभग 3-4
साल बाद ससुर सहित अमेरिका चला गया तथा हैदराबाद में रहने वाला आरोपी आमिर का बडा
साला फिरोज पहले से ही अमेरिका में रह रहा था, जिसके
बाद में आरोपी आमिर भी नौकरी करने हेतु अमेरिका चला गया। आरोपी की मुलाकात इसी
दौरान पासपोर्ट बनाने वाले एजेन्ट से हो गई। एजेन्ट द्वारा अमीर अली के स्थान पर
राजेश अग्रवाल के नाम से तैयार किया गया। उक्त फर्जी पासपोर्ट के आधार पर आरोपी
अमेरिका चला गया था और वहा जाकर किसी कम्पनी में नौकरी करते हुए अमेरिका में ही
रहने लगा। अमेरिका में लगभग 7-8 वर्ष रहने के पश्चात उसे ग्रीन कार्ड
से अमेरिका की नागरिकता प्राप्त होना बताया, तब
से आरोपी लगातार अमेरिका में ही रह रहा था। अमेरिका जाने के बाद में आरोपी अमीर
लगभग 4-5 बार भारत आया। आरोपी जब भी भारत आता था वह
अपनी बहनो से मिलने के लिये गुजरात में सूरत, अहमदाबाद
एवं आणंद जाया करता था। आरोपी 24 अप्रैल 2018 को
भारत आया था। आरोपी भारत आने के पशचात् अपने परिजन तथा रिशतेदारों से अहमदाबाद, सूरत, आनंद, एवं
इंदौर में मिला था। प्रारंभिक रूप से आरोपी के द्वारा गलत नाम से फर्जी पासपोर्ट
प्राप्त करने पर क्राईम ब्रांच थाने पर धारा 420, 467, 468, 471
भादवि तथा पासपोर्ट अधिनियम के तहत अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया, जिससे
विस्तृत पूछताछ की जा रही है।
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