इन्दौर -दिनांक २८ अक्टूबर २०११- वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक श्री ए. साई मनोहर ने बताया कि षाजापुर के सलारिया गांव के निवासी राजू उर्फ राजेष व्यास व उसके पिता गोकुल अपने गांव से उज्जैन जाने का कहकर दिनांक १३.१०.११ को निकले थे। १४ अक्टूबर की शाम को राजू ने अपने मित्र जीतू को मोबाइल पर बताया कि वह कुछ कार्य से कलकत्ता जा रहा है। दिनांक १८ अक्टूबर को राजू ने जीतू को मोबाइल पर बताया कि उसके साथ धोखा हो गया है, उसे बंधक बना लिया गया है, ०७ लाख रूपयों का प्रबंध करो। गांव वालो को पुनः फोन कर इन्दौर के अपोलो टॉवर पैसे लेकर आने को कहा गया। दिनांक २० अक्टूबर को अपहृतों के परिजनों व्दारा पुलिस को घटना क्रम की जानकारी दी गई।
एस.एस.पी. इन्दौर व्दारा तत्काल कार्यवाही करते हुए थाना तुकोगंज पर अपहरण का प्रकरण दर्ज कराया गया। आरोपियो को पकडने एवं अपहृतो को सुरक्षित छुडाने के लिये वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक व्दारा क्राईम ब्रांच को जिम्मेदारी सौंपी गई।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक क्राईम मनोज राय एवं टीम ने तुकोगंज पुलिस की मदद से कार्यवाही शुरू की। आरोपियों व्दारा, अपोलो टॉवर में शेयर व्यापारी अविनाष को रूपये देने हेतु कहा गया था। अपहृतो के परिजन पैसे लेकर अपोलो टॉवर गये, पैसे देते समय क्राईम ब्रांच ने अविनाष को पकड़ा। अविनाष ने पूछताछ में कलकत्ता के दीनदयाल द्वारा अब्दुल मोमीन नामक व्यक्ति द्वारा इंदौर में पैसे भेजने हेतु बताया था।
निरीक्षक क्राईम जयंत राठौर व थाना प्रभारी तुकोगंज अषोक तिवारी के नेतृत्व में टीम कलकत्ता भेजी गई। कलकत्ता क्राईम ब्रांच के संयुक्त आयुक्त (अपराध) दमयंती सेन की मदद से संयुक्त अभियान कलकत्ता में चलाया गया। तकनीकी विष्लेषण पर यह पाया गया कि आरोपी अपहृतों को बांग्लादेष सीमा पर स्थित दाषिज दिनाजपुर जिले के कुमारगंज क्षैत्र में रखे हुये है। उनकी जान की सुरक्षा को ध्यान में रखकर आरोपियो द्वारा मांगी गई राषि का आधा हिस्सा रणनीति के तहत् कलकत्ता में दिया गया। आरोपियों की पहचान गोपनीय रूप से की गई। आरोपियों के विष्वास में होने पर २४ अक्टूबर के दिन सियालदह रेल्वे स्टेषन पर ऑपरेषन चलाया गया। आरोपी अब्दुल मोवीन पिता अब्दुल मन्नान निवासी लालगोला जिला मुर्षिदाबाद (पष्चिम बंगाल) को निरीक्षक जयंत राठौर एवं कलकत्ता क्राईम ब्रांच के उपनिरीक्षक सलील द्वारा मय रणनीति के तहत् दी गई राषी के धर दबोचा गया।
थाना प्रभारी तुकोगंज के नेतृत्व में दूसरा दल वर्धमान रेल्वे स्टेषन पर था, जहॉ दबाव के कारण अपहृत राजू व गोकुल को आरोपियों द्वारा छोड़ा गया। अन्य आरोपियों की तलाष में मुर्षिदाबाद में बीएसएफ व स्थानिय पुलिस की मदद से उनके घरों पर दबिष दी गई जो नही मिले थे।
अपहृत राजू से पूछताछ में आरोपियों के द्वारा उसके परिचित का हवाला देकर पैसे देने के बहाने पष्चिम बंगाल ले जाया गया। वहॉ नारकोटिक्स अधिकारी बनकर उनके साथ मारपीट कर ०७ लाख रूपये की मांग की गई व गॉव में बंधक बनाकर रखा गया।
पुलिस द्वारा की गई पूछताछ में पता चला कि आरोपी अब्दुल मोमीन पूर्व में लखनऊ में ब्राउन शुगर के प्रकरण में बंद हो चुका है। आरोपी अब्दुल मोमीन पूर्व में थाना खजराना क्षैत्र में रह चुका है, थाना खजराना पर उसके विरूद्व नकली नारकोटिक्स अधिकारी बनकर मंदसौर के बद्रीसिंह नामक व्यक्ति को बंधक बनाकर ०४ लाख रूपयें की फिरौती मांगने पर थाना खजराना में अपराध क्रं. ३५९/०९ धारा ४२०,३४२,३८४,१२० बी भादवि का प्रकरण दर्ज हुआ था, उसका ड्रायविंग लायसेंस भी खजराना के पते का बना मिला है।
आरोपियों के संबंध में म.प्र. के मंदसौर जिले से होना पता चला है, जिसकी जांच की जा रही है। फरार आरोपियों पर पृथक-पृथक १०-१० हजार के ईनाम की उद्घोषणा की गई है। प्रकरण का खुलासा करने वाले एवं अपहृतों को सुरक्षित छुड़ाने वाले क्राईम ब्रांच इंदौर, तुकोगंज पुलिस एवं कलकत्ता क्राईम ब्रांच ने उत्कृष्ट कार्य किया है, उन्हे पुरूस्कृत किया जा रहा है।
एस.एस.पी. इन्दौर व्दारा तत्काल कार्यवाही करते हुए थाना तुकोगंज पर अपहरण का प्रकरण दर्ज कराया गया। आरोपियो को पकडने एवं अपहृतो को सुरक्षित छुडाने के लिये वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक व्दारा क्राईम ब्रांच को जिम्मेदारी सौंपी गई।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक क्राईम मनोज राय एवं टीम ने तुकोगंज पुलिस की मदद से कार्यवाही शुरू की। आरोपियों व्दारा, अपोलो टॉवर में शेयर व्यापारी अविनाष को रूपये देने हेतु कहा गया था। अपहृतो के परिजन पैसे लेकर अपोलो टॉवर गये, पैसे देते समय क्राईम ब्रांच ने अविनाष को पकड़ा। अविनाष ने पूछताछ में कलकत्ता के दीनदयाल द्वारा अब्दुल मोमीन नामक व्यक्ति द्वारा इंदौर में पैसे भेजने हेतु बताया था।
निरीक्षक क्राईम जयंत राठौर व थाना प्रभारी तुकोगंज अषोक तिवारी के नेतृत्व में टीम कलकत्ता भेजी गई। कलकत्ता क्राईम ब्रांच के संयुक्त आयुक्त (अपराध) दमयंती सेन की मदद से संयुक्त अभियान कलकत्ता में चलाया गया। तकनीकी विष्लेषण पर यह पाया गया कि आरोपी अपहृतों को बांग्लादेष सीमा पर स्थित दाषिज दिनाजपुर जिले के कुमारगंज क्षैत्र में रखे हुये है। उनकी जान की सुरक्षा को ध्यान में रखकर आरोपियो द्वारा मांगी गई राषि का आधा हिस्सा रणनीति के तहत् कलकत्ता में दिया गया। आरोपियों की पहचान गोपनीय रूप से की गई। आरोपियों के विष्वास में होने पर २४ अक्टूबर के दिन सियालदह रेल्वे स्टेषन पर ऑपरेषन चलाया गया। आरोपी अब्दुल मोवीन पिता अब्दुल मन्नान निवासी लालगोला जिला मुर्षिदाबाद (पष्चिम बंगाल) को निरीक्षक जयंत राठौर एवं कलकत्ता क्राईम ब्रांच के उपनिरीक्षक सलील द्वारा मय रणनीति के तहत् दी गई राषी के धर दबोचा गया।
थाना प्रभारी तुकोगंज के नेतृत्व में दूसरा दल वर्धमान रेल्वे स्टेषन पर था, जहॉ दबाव के कारण अपहृत राजू व गोकुल को आरोपियों द्वारा छोड़ा गया। अन्य आरोपियों की तलाष में मुर्षिदाबाद में बीएसएफ व स्थानिय पुलिस की मदद से उनके घरों पर दबिष दी गई जो नही मिले थे।
अपहृत राजू से पूछताछ में आरोपियों के द्वारा उसके परिचित का हवाला देकर पैसे देने के बहाने पष्चिम बंगाल ले जाया गया। वहॉ नारकोटिक्स अधिकारी बनकर उनके साथ मारपीट कर ०७ लाख रूपये की मांग की गई व गॉव में बंधक बनाकर रखा गया।
पुलिस द्वारा की गई पूछताछ में पता चला कि आरोपी अब्दुल मोमीन पूर्व में लखनऊ में ब्राउन शुगर के प्रकरण में बंद हो चुका है। आरोपी अब्दुल मोमीन पूर्व में थाना खजराना क्षैत्र में रह चुका है, थाना खजराना पर उसके विरूद्व नकली नारकोटिक्स अधिकारी बनकर मंदसौर के बद्रीसिंह नामक व्यक्ति को बंधक बनाकर ०४ लाख रूपयें की फिरौती मांगने पर थाना खजराना में अपराध क्रं. ३५९/०९ धारा ४२०,३४२,३८४,१२० बी भादवि का प्रकरण दर्ज हुआ था, उसका ड्रायविंग लायसेंस भी खजराना के पते का बना मिला है।
आरोपियों के संबंध में म.प्र. के मंदसौर जिले से होना पता चला है, जिसकी जांच की जा रही है। फरार आरोपियों पर पृथक-पृथक १०-१० हजार के ईनाम की उद्घोषणा की गई है। प्रकरण का खुलासा करने वाले एवं अपहृतों को सुरक्षित छुड़ाने वाले क्राईम ब्रांच इंदौर, तुकोगंज पुलिस एवं कलकत्ता क्राईम ब्रांच ने उत्कृष्ट कार्य किया है, उन्हे पुरूस्कृत किया जा रहा है।
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