Friday, July 10, 2015

अंधे कत्ल का 24 घंटे मे पर्दाफाश, आरोपी गिरफ्‌तार



इन्दौर-दिनांक 10 जुलाई 2015-पुलिस थाना कनाड़िया क्षेत्रान्तर्गत दिनांक 09.07.15 को बिचोली मर्दाना गिट्टी खदान बड़ियाकीमा रोड के किनारे रामगोपाल चंदेल निवासी कमल नगर मुसाखेडी इन्दौर की अज्ञात आरोपी द्वारा की गई निर्ममतापूर्वक हत्या का खुलासा 24 घन्टे के अंदर करने मे पुलिस टीम को कामयाबी मिली है।
ज्ञात हो कि दिनांक 09.07.15 को देवीसिह पुत्र रामसिह पटेल निवासी बिचोली मर्दाना द्वारा बिचोली मर्दाना बड़ियाकीमा रोड किनारे क्षतिग्रस्त चेहरे वाले किसी अज्ञात व्यक्ति की लाश पडे़ होने की सूचना थाना कनाडिया को दी गई। जिस पर थाना कनाड़िया पर मर्ग क्रमांक 24/15 धारा 174 जा.फौ. की जांच से अपाध क्रमांक 356/15 धारा 302/201 भादवि का पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया। घटना को गंभीरता से लेते हुए पुलिस उप महानिरीक्षक इन्दौर श्री संतोष कुमार सिंह एवं पुलिस अधीक्षक पूर्व श्री ओपी त्रिपाठी के मार्गदर्शन मे अति. पुलिस अधीक्षक पूर्व श्री बिट्टू सहगल तथा नगर पुलिस अधीक्षक विजय नगर श्री विपुल श्रीवास्तव के निर्देशन मे थाना प्रभारी कनाडिया संजय चतुर्वेदी के अधीन एक टीम घटित कर घटना के आरोपी कीपतारसी के संबंध में आवश्यक दिशा निर्देश दिये गये।
पुलिस द्वारा मृतक रामगोपाल के परिजनो, घटना स्थल के आसपास, मृतक के घर के आसपास रहने वालो लोगो तथा मृतक जिस पुष्टा फेक्ट्री मे काम करता था वहां के कर्मचारिय़ो से पूछताछ की गई तो, पुलिस टीम को सर्वप्रथम मृतक रामगोपाल के निवास स्थान कमल नगर मुसाखेडी के आसपास रहने वाले लोगो से जानकारी प्राप्त हुई कि, मृतक की पत्नी गुड्डी का मृतक रामगोपाल से विवाद होता रहता था और अक्सर मारपीट भी होती रहती थी। दिनांक 7-7-15 को हाल ही मे भी दोनो का झगडा हुआ था। टीम द्वारा जब मृतक का उसकी पत्नी गुड्डी से झगडे के कारण का पता लगाया गया, तब आसपास रहने वाले अनेक लोगो द्वारा बताया गया कि विगत दो वर्ष पूर्व मृतक रामगोपाल के मकान मे किराये से रहने वाले सुनील गुर्जर के गुड्डी बाई से घनिष्ठ संबंध बन गये थे। इस बात पर से मृतक रामगोपाल द्वारा गुड्डी बाई को समझाय़ा गया किन्तु गुड्डी बाई नही मानी और अक्सर सुनील के साथ बाजार घूमने जाती थी तथा घर मे हंसी मजाक करती रहती थी। एक बार रामगोपाल द्वारा सुनील व गुड्डी  को आपत्तिजनक अवस्था मे देखने पर आपत्ती की गई तो गुड्डी औरसुनील राम गोपाल पर हावी हो गये थे। इस बात की जानकारी जब रामगोपाल ने अपने मोहल्ले के लोगो को बताई तो मोहल्ले के अनेक लोग इकट्‌ठे हो गये और सभी ने मिलकर सुनील को राम गोपाल का मकान खाली कर चले जाने का कहा और सुनील को मकान खाली करने पडा। किन्तु इस घटनाक्रम के बाद भी गुड्डी बाई सुनील से घर से बाहर अक्सर मिलती रहती थी। यहा तक की सुनील के कमरे पर भी पहुंचती रहती थी। सुनील यह टीस अपने दिल व दिमाग मे रखे रहा कि रामगोपाल ने मोहल्ले वालो से बेईज्जत कर घर से बाहर निकाला, इसका बदला लेना है। शुरुआती दौर मे सुनील से रामगोपाल बात नही करता था किन्तु दोनो ही केटरिंग के कार्य से जुडे होने के कारण कुछ समय बाद मृतक रामगोपाल अपने सीधे स्वभाव के कारण सुनील से बातचीत करने लगा। किन्तु समय-समय पर रामगोपाल आरोपी सुनील को उसकी पत्नी गुड्डी से बात न करने के बारे मे कहता रहता था।  आरोपी सुनील ने इसी बीच कुछ पार्टियो मे वेटर का काम भी राम गोपाल को दिलाकर रुपये दिलवाये। जब रामगोपास से आरोपी सुनील ने पुनः दोस्ती कर विश्वास प्राप्त कर लिया तभी अपनी पुरानी अदावत का बदला लेने की ठानी और इसी के चलते दिनांक 7/9/15को शाम करीबन 7 बजे मोबाईल से बात करके मृतक को एक पार्टी मे केटरिंग के काम के लिये बुलाया और काम पर ले जाने के बहाने साथ साथ चलते हुए पीछे से रामगोपाल की पीठ पर चाकू से वार किया गया। हमले से बचने के लिये रामगोपाल ने काफी बचाव किया किन्तु आरोपी सुनील ताबड तोड चाकू से वार करता रहा और रामगोपाल के जमीन पर गिरने पर पास मे पडे बडे-बडे पत्थरो से रामगोपाल का सिर कुचल दिया, ताकि उसे कोई पहचान नहीं पायें। इस घटना के बाद आरोपी सुनील ने घटना मे प्रयुक्त चाकू घटना स्थल के पास पत्थरो के नीचे छिपा दिया तथा घटना के समय पहने कपडे मुसाखेडी मे कचरा पेटी मे डाल दिये।
 पुलिस को आरोपी सुनील के बारे में पता चलने पर उसके घर पर तथा आरोपी के अक्सर मिलने के स्थान पाल्दा, कांकड, मुसाखेडी, मयूर नगर, मे तलाश की गई, तभी यह सूचना प्राप्त हुई कि सुनील हरदा भागने की तैयारी मे है, और अभी कलेक्टर से मोती तबेला के रास्ते मे चाय की दुकान के पास खडा है। इस सूचना पर से कनाडिया पुलिस टीम द्वारा आरोपी सुनील गुर्जर को हिरासत मे लेकर पूछताछ की गई तो आरोपी द्वारा अपराध स्वीकार करते हुए घटना स्थल से चाकू ,खून लगा पत्थर, मुसाखेडी से घटना के समय पहने खून लगे कपडे, कचरा पेटी मे छुपाकर रखे बरामद कराये गये। मृतक रामगोपाल का मोबाईल फोन तथा सायकल आरोपी सुनील के पास से जप्त की गई। आरोपी सुनील से और पुछताछ कर हत्या से संबंधित अन्य सुराग एकत्र किये जा रहे है।
                इस अंधे कत्ल का पर्दाफाश कर, आरोपी को गिरफ्‌तार करने में वरिष्ठ अधिकारियों के मार्गदर्शन में नगर पुलिस अधीक्षक विजय नगर श्री विपुल श्रीवास्तव के नेतृत्व मे थाना प्रभारी कनाडिया संजय चतुर्वेदी, उनि आर.ए. यादव, उनि एम.सी. रघुवंशी, सउनि एस.एन. कटियार, सउनि के.के. शर्मा, आर. सत्यनारायण, आर. प्रदीप,  आर. रामलखन,  आर. लोकेन्द्र तथा आरक्षक चालक संतोष का महत्वपूर्ण एवं सराहनीय योगदान रहा।

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